राजसमन्द। जिले के कुंवारिया तहसील मुख्यालय पर स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की स्थितियों को देखकर लग रहा है स्वास्थ्य केंद्र का स्वास्थ्य भी ठीक नहीं है। यह प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कभी कभार नर्सिंग कर्मचारियों के भरोसे चलता है। डॉक्टर के न मिलने पर आने वाले मरीजों को वापस निराश लौटना पड़ता है। सुबह 10 बजे के करीब कई ग्रामीण अस्पताल में व्यवस्था का जायजा लेने एक साथ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर पहुंचे वहां पर देखा कि डॉक्टर अनुपस्थित है और नर्सिंग स्टाफ डॉक्टर की जिम्मेदारी निर्वहन कर रहा है।ग्रामीणों ने नर्सिंग स्टाफ से उपस्थित स्टाफ और डॉक्टर के बारे में पूछा तो उन्होंने बताया कि लैब असिस्टेंट सोहनलाल मीणा तो दस दिन के अवकाश पर है डॉक्टर साहब अब आएंगे।नर्सिंग स्टाफ ने फोन कर डॉक्टर को ग्रामीणों के आने की सूचना दी तब 10:50 पर डॉक्टर अस्पताल में पहुंचे वहां पर कई बुजुर्ग महिलाएं व पुरुष अपना ईलाज के करवाने के लिए इंतजार कर रहे थे। डॉक्टर से ग्रामीणों ने बात की तो डॉक्टर ने बताया कि मैं यहां पर व्यवस्था के तौर पर तीन दिन सोम मंगल बुध के लिए लगाया गया हूं मेरा मुख्य पदस्थापन पिपली गांव में है वही तीन दिन गुरु शुक्र शनि वनाईं गांव से डॉक्टर को यहां पर अस्थाई तौर पर लगाया गया है।
ग्रामीणों ने आक्रोश व्यक्त करते हुए कहां की कल रात को 11 बजे एक जाने की तबीयत अचानक खराब हुई तब हॉस्पिटल आए तो यहां पर दोनों गेट पर ताले लगे मिले और चिल्लाने पर भी किसी ने दरवाजा नहीं खोला उसे मजबूरन आर.के अस्पताल ले जाना पड़ा। इतने बड़े कस्बे और आस-पास के गांव को सेवा प्रदान करने वाले इस तहसील मुख्यालय के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर स्थाई चिकित्सक का न होना गांव का दुर्भाग्य है। ग्रामीणों ने जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी से फोन पर संपर्क करने का प्रयास किया उन्होंने फोन अटेंड नहीं किया। ग्रामीणों ने आक्रोश जताया है जल्द चिकित्सा व्यवस्था सुधार करवाने की मांग की है।


Author: डेस्क/माय सर्कल न्यूज
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